यह एक फ़्लाइट अटेन्डेन्ट निरजा की कहानी है. जब आतंकवादी संगठन ने 1986 में, पैन एम उड़ान 73 को हाईजैक किया था, तब उसने 359 यात्रियों की प्राणों की रक्षा करते हुए, अपने प्राणों की आहुति दी थी.यह एक फ़्लाइट अटेन्डेन्ट निरजा की कहानी है. जब आतंकवादी संगठन ने 1986 में, पैन एम उड़ान 73 को हाईजैक किया था, तब उसने 359 यात्रियों की प्राणों की रक्षा करते हुए, अपने प्राणों की आहुति दी थी.यह एक फ़्लाइट अटेन्डेन्ट निरजा की कहानी है. जब आतंकवादी संगठन ने 1986 में, पैन एम उड़ान 73 को हाईजैक किया था, तब उसने 359 यात्रियों की प्राणों की रक्षा करते हुए, अपने प्राणों की आहुति दी थी.